ईरान की नाव को भारत के कोस्ट गार्ड ने पकड़ा तो भारतीय क्रू ने सुनाई आपबीती

डेस्क।। ईरान के एक छोटे जहाज़ को भारतीय कोस्ट गार्ड ने केरल के तट के पास पकड़ा है। इस जहाज के क्रू के सदस्य भारत के हैं। द हिंदू की खबर के अनुसार, भारतीय कोस्ट कार्ड के जहाज और हेलिकॉप्टर ने इस कार्रवाई को अंजाम दिया।

इसे कोझिकोड़ जिले के कोइलैंडी से 20 समुद्री मील दूर बेपोर के नजदीक पकड़ा गया है। इसके बाद इसे कोच्चि में लाया गया है जहां आगे की पड़ताल और कानूनी प्रक्रिया अमल में लाई जा रही है।

कोस्ट गार्ड के अनुसार, शुरुआती जांच बता रही है कि नाव का मालिकाना हक एक ईरानी के पास है और उसने कन्याकुमारी के छह मछुआरों से एक कॉन्ट्रैक्ट किया हुआ है। इसके तहत उसने इन्हें ईरान के तट के करीब मछली पकड़ने के लिए ईरानी वीजा दिलवाया है।

क्रू के सदस्यों ने कोस्ट गार्ड को बताया कि उन्हें हायर करने के बाद से ही परेशान किया जा रहा था। उनके साथ दुर्व्यवहार किया जा रहा था। उन्हें सही से नहीं रखा जा रहा था और पासपोर्ट जब्त कर लिए गए थे।

मछुआरों का कहना है कि इसके बाद मौका मिलते ही वो नाव लेकर ईरान से भारत की ओर भाग निकले।

Manjummel Boys : क्यों हर ओर छाया हुआ है मंजुम्मेल बॉयज़ का नाम

मंजुम्मेल बॉयज़, ये ऐसा नाम है जो गूगल से लेकर ट्विटर तक छाया हुआ है। ये एक मलयालम मूवी है जिसने अब तक 230 करोड़ रुपये से ज्यादा कमा लिए हैं।

कई कलाकार, समीक्षक और पत्रकार इस फिल्म की तारीफ कर रहे हैं। ये सर्वाइवल थ्रिलर मूवी है। इसमें 2006 की एक घटना पर आधारित है। उस समय गुफा में फंसे दोस्त को बचाने के लिए कुछ लोगों को इन हालात से गुज़रना पड़ा था, उसका फिल्मांकन किया गया है।

जहां उनका दोस्त फंसा था, उसे मंजुम्मेल कहा जाता है। ये कोदाइकनाल के गुना गुफा में है। अब ये एक बार फिर चर्चा में इसलिए है क्योंकि ये डिज़्नी प्लस हॉटस्टार पर मलयालम, हिंदी, तमिल और कन्नड़ भाषा में उपलब्ध हो गई है।

थिएटर में यह 74 दिन पहले रिलीज हुई थी। इस फिल्म का मलयालम ही नहीं बल्कि तमिल संस्करण भी सुपर हिट रहा था।

पीएम नरेंद्र मोदी ने अयोध्या में किया रोड शो, रामलला के भी किए दर्शन

अयोध्या।। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रविवार शाम को उत्तर प्रदेश के अयोध्या से बीजेपी के उम्मीदवार लल्लू सिंह के समर्थन में रोड शो किया। पीएम का रोड शो सुग्रीव किला से लता मंगेश्वर चौक तक चला। दो किलोमीटर तक चले इस रोड शो को देखने के लिए बड़ी संख्या में लोग जुटे।

रोड शो के लिए एक खास रथ बनाया गया था जिसमें उनके साथ यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ भी थे। इस दौरान लोग फूलों की बारिश करते भी नजर आए।

इसके बाद पीएम यहां से अयोध्या एयरपोर्ट के लिए रवाना हो गए जहां से वह विशेष विमान से दिल्ली चले गए। वहीं मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ भी राजधानी लखनऊ लौट गए।

इससे पहले पीएम मोदी ने राम मंदिर पहुंचकर राम लला के दर्शन भी किए थे।

VleBazaar reviews : कई ग्राहक परेशान, कंज़्यूमर कमीशन तक को देना पड़ा दखल

VleBazaar या VleBazaar.com एक ऐसी कंपनी है जो अक्सर सस्ते और लुभावने दाम पर इलेक्ट्रॉनिक सामान बेचती है। लेकिन इस कंपनी पर ग्राहकों के साथ वादों को निभाने में नाकाम रहने के भी आरोप लगते रहे हैं।

इंटरनेट पर ट्विटर से लेकर कई खबरों तक से यह पता चलता है कि कई ग्राहकों को समय पर चीजें नहीं भेजी गईं। फिर ग्राहक ने ऑर्डर कैंसल किया तो समय पर उनका रीफंड नहीं दिया गया।

2022 में तो डिस्ट्रिक्ट कंज्यूमर डिस्प्यूट रीड्रेसल कमीशन के आदेश पर एक ग्राहक को उनके ऑर्डर का रीफंड आठ फीसदी सालाना दर पर देने के लिए कहा गया था। उसकी खबर यहां क्लिक करके पढ़ें।

इस कंपनी के मालिक हिमांशु अग्रवाल को यह आदेश दिया गया था। इसके अलावा, कुछ अन्य उदाहरणों की बात करें तो आशीष सिदाना नाम के शख्स ने इस संबंध में अपना पूरा अनुभव ट्विटर (इन दिनों एक्स) पर साझा किया है। यहां क्लिक करके उनके हैंडल पर जाएं।

इसलिए, सस्ते के चक्कर में न पड़ें। इनकी वेबसाइट पर दिए गए नंबर पर हमने लगातार चार दिन कॉल किया, किसी ने भी उसे नहीं उठाया। कुछ भी सामग्री खरीदने से पहले सोच-समझकर फैसला लें।

कंगना के खिलाफ कांग्रेस ने चुनाव आयोग को दी शिकायत, की ये मांग

शिमला।। कांग्रेस ने मंडी लोकसभा सीट से बीजेपी उम्मीदवार कंगना के खिलाफ शिकायत की है। कांग्रेस ने कहा है कि कंगना द्वारा उनकी पार्टी के उम्मीदवार विक्रमादित्य सिंह को एक उपनाम से पुकारे जाने, उनके परिवार और निजी जिंदगी पर टिप्पणियां करने से रोका जाए।

कांग्रेस ने कहा है कि प्रदेश और केंद्रीय स्तर के नेतृत्व की ओर से कई बार शिकायत किए जाने के बावजूद कंगना पर किसी तरह की कार्रवाई नहीं की गई है। कांग्रेस का आरोप है कि कंगना लगातार विक्रमादित्य सिंह पर निजी हमले कर रही हैं।

सरकाघाट में कंगना के भाषण का जिक्र करते हुए कांग्रेस ने लिखा है कि उन्होंने कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं और विक्रमादित्य के खिलाफ अपमानजनक टिप्पणी की। उन्होंने स्वतंत्रता सेनानियों की तुलना कारोबारियों से और मोती लाल नेहरू को ब्रितानियों का अंश बताया।

कांग्रेस की शिकायत में कहा गया है कि कंगना ने संजय गांधी पर जबरन नसबंदी करने का आरोप लगाया। ये आचार संहिता का उल्लंघन है और मृत व्यक्ति पर निजी हमला है। इस शिकायत में कांग्रेस की पूर्व अध्यक्ष सोनिया गांधी के लिए अपमानजनक भाषा इस्तेमाल करने का भी जिक्र किया गया है।

टूटे कर्ज के सारे रिकॉर्ड, सुक्खू सरकार ने बीजेपी को भी पीछे छोड़ा

टूटे कर्ज के सारे रिकॉर्ड, सुक्खू सरकार ने बीजेपी को भी पीछे छोड़ा

इन हिमाचल डेस्क।। हिमाचल प्रदेश में कांग्रेस सरकार 700 करोड़ रुपये का कर्ज लेने जा रही है। यह नए वित्त वर्ष में सुक्खू सरकार का दूसरा कर्ज होगा। इससे पहले तीन अप्रैल को हिमाचल सरकार ने 1000 करोड़ का कर्ज लिया था।

दैनिक जागरण में आठ मार्च को छपी रिपोर्ट के अनुसार, बीते करीब सवा वर्षा के दौरान ही सुक्खू सरकार ने अब तक 13400 करोड का कर्ज ले लिया है। अगर इसमें 1700 रुपये मिला दिए जाएं तो कुल रकम 15100 करोड़ हो जाती है।

यह रकम पिछली बीजेपी सरकार के कार्यकाल में पांच साल यानी साठ महीनों में लिए गए कुल कर्ज के आधे से ज्यादा है। यानी एक तरह से देखा जाए तो जिनता कर्ज पिछली सरकार ने 30 महीने में लिया था, उतना वर्तमान सरकार 15 महीने में ही ले चुकी है।

अगर आगे भी कर्ज लेने की रफ्तार ऐसी ही रही तो पांच साल कार्यकाल पूरा होने के बाद प्रदेश पर वर्तमान सरकार 60 हजार करोड़ का अतिरिक्त कर्ज लेकर जाएगी तो पिछली बीजेपी सरकार के लिए कर्ज से दोगुना होगा। और हिमाचल पर कुल कर्ज होगा 1 लाख 36 हजार करोड़ से ज़्यादा।

दरअसल, विधानसभा में उपमुख्यमंत्री मुकेश अग्निहोत्री ने श्वेत पत्र लाते हुए बताया था कि 2017 में जब कांग्रेस की सरकार गई थी तब प्रदेश पर 47906 करोड़ रुपये का कर्ज था। जब बीजेपी 2022 में सत्ता से हटी तो यह कर्ज बढ़कर 76630 करोड़ हो गया।

यानी बीजेपी के कार्यकाल में प्रदेश पर 28724 करोड़ रुपये का अतिरिक्त कर्ज चढ़ा। अब वर्तमान की कांग्रेस सरकार इस रकम के आधे से ज्यादा का कर्ज ले चुकी है।

2022 में हुए विधानसभा चुनाव के दौरान कांग्रेस ने भारतीय जनता पार्टी की सरकार पर बेतहाशा कर्ज लेने का आरोप लगाया था। यही कांग्रेस का मुख्य मुद्दा भी था। मगर कर्ज लेने की रफ्तार कांग्रेस सरकार में तेज़ हो गई है।

अगर अब तक लिए कर्ज को महीनों के आधार पर बांटा जाए तो जहां जयराम ठाकुर के नेतृत्व वाली बीजेपी सरकार औसतन हर महीने 478 करोड़ का कर्ज ले रही थी, वहीं अब तक सुक्खू सरकार हर महीने औसतन 1006 करोड़ कर्ज ले रही है।

हिमाचल में बनी खांसी से लेकर हार्ट फेलियर तक की इन 16 दवाओं के सैंपल फेल,

शिमला।। हिमाचल में बनी 16 दवाओं के कई बैच ज़रूरी मानकों पर खरे नहीं पाए गए हैं। सेंट्रल ड्रग्स स्टैंडर्ड कंट्रोल ऑर्गनाइजेश (CDSCO) की ओर से हर महीने जारी की जाने वाली सूची में यह जानकारी दी गई है।

जो दवाएं घटिया पाई गई हैं, उनमें से कई ब्लड क्लॉट यानी खून के थक्के जमने से रोकने, ब्लड प्रेशर कंट्रोल करने और अर्थराइटिस में राहत देने के लिए इस्तेमाल की जाती हैं।

इनमें से कुछ पेट में बैक्टीरिया से संक्रमण होने, दर्द, सूजन, एलर्जी, एसिटडिटी, सिर दर्द, ब्रॉन्काइटिस, हार्ट फेलियर, बदहज़मी, उल्टी, पेट में अल्सर, खांसी और फंगल इन्फेक्शन के इलाज के लिए इस्तेमाल होती हैं।

राज्य के कार्यकारी ड्रग्स कंट्रोलर मनीष कपूर ने द ट्रिब्यून अखबार से कहा कि जिन दवाओं का नाम आया है, उन्हें तुरंत मार्केट से हटा दिया जाएगा और फील्ड स्टाफ जांच करेगा कि कमी कहां रह गई।

इनमें काला अंब की कंपनी डिजिटल विज़न की ओर से बनाई जाने वाली दवा अलर्नो (Alerno Tab) भी शामिल है। इसकी जानकारी देते हुए द ट्रिब्यून ने लिखा है कि ये वही कंपनी है जिसके बनाए कफ़ सिरप पर साल 2020 में जम्मू और कश्मीर के उधमपुर में कई बच्चों की जान लेने के आरोप लगे थे। उसकी अलर्नो नाम की एलर्जी का इलाज करने वाली दवा को सबस्टैंडर्ड बताया गया है।

CDSCO कफ़ सिरप की क्वॉलिटी को लेकर ज्यादा सजग था. ऐसे में Abrodoll-S और L Melt नाम के कफ सिरप सबस्टैंडर्ड पाए गए हैं यानी वे मानकों के अनुरूप नहीं थे। इन्हें परवाणु के पास टकसाल नाम की कंपनी बनाती है। इन दोनों में वे अहम सामग्रियां कम थीं, जिनसे दवा असरदार बनती है।

शालिनी अग्निहोत्री को राहत, सुप्रीम कोर्ट ने तबादले के आदेश पर लगाई रोक

शिमला।। सुप्रीम कोर्ट ने हिमाचल कैडर की आईपीएस अधिकारी शालिनी अग्निहोत्री को राहत देते हुए उनके कांगड़ा एसपी पद से तबादले के आदेश पर रोक लगाते हुए नोटिस जारी किया है।

गौरतबल है कि पालमपुर के कारोबारी निशांत शर्मा ने हिमाचल पुलिस के वरिष्ठ अधिकारियों पर आरोप लगाया था कि ये अफसर उनपर एक मामले में दबाव डालने का प्रयास कर रहे थे। उन्होंने डीजीपी संजय कुंडू पर प्रेस कांफ्रेंस में आरोप लगाए थे।

इसके बाद उनकी शिकायत पर संज्ञान लेते हुए शिमला हाई कोर्ट ने डीजीपी और एसपी कांगड़ा को बदलने के आदेश दिए थे। सुक्खू सरकार ने कुंडू को आयुष विभाग का प्रधान सचिव बना दिया था मगर कुंडू ने सुप्रीम कोर्ट का रुख किया था।

कुंडू को सुप्रीम कोर्ट से राहत मिली थी और उन्हें फिर से डीजीपी पद पर बहाल कर दिया गया था। इसी तरह शालिनी अग्निहोत्री की ओर से भी एक याचिका सुप्रीम कोर्ट में दायर की गई थी।

गुरुवार को सुप्रीम कोर्ट ने शालिनी को भी राहत देते हुए ट्रांसफर आदेश पर रोक लगा दी है। इस मामले में सुप्रीम कोर्ट में वरिष्ठ अधिवक्ता सिद्धार्थ दवे और मोहित डी. राम (एडवोकेट ऑन रिकॉर्ड) ने शालिनी का पक्ष रखा।

तब तक उत्तराखंड में रहेंगे हिमाचल के ये 11 विधायक, जब तक कि…

नई दिल्ली।। हिमाचल प्रदेश में जारी राजनीतिक हलचल के बीच हिमाचल प्रदेश के 11 विधायक उत्तराखंड पहुंच गए हैं। इनमें कांग्रेस के वो छह विधायक हैं, जिन्होंने राज्यसभा चुनाव में बीजेपी के उम्मीदवार को वोट दिया था। साथ में तीन निर्दलीय विधायक हैं। इनके साथ हरियाणा के पंचकुला से बीजेपी के भी दो विधायक उत्तराखंड पहुंचे हैं।

खबरों के अनुसार, ये सभी विधायक शुक्रवार को चार्टड प्लेन में देहरादून के जॉली ग्रांट एयरपोर्ट उतरे थे और उसके बाद इन्हें ऋषिकेश के पास सिंगटाली ले जाया गया।

समाचार पोर्टल मिंट के अनुसार इन विधायकों को उत्तराखंड लाए जाने के कारणों पर बात करते एक सूत्र ने बताया है कि छह कांग्रेसी और तीन निर्दलीय विधायकों के साथ जो बीजेपी के विधायक यहां आए हैं, उनके नाम हैं- बिक्रम ठाकुर और राकेश जम्वाल।

इस सूत्र का कहना है कि ये सभी लोग तब तक ऋषिकेश में रहेंगे, जब तक सुप्रीम कोर्ट उस मामले में कोई फैसला नहीं सुना देता, जिसे लेकर कांग्रेस के छह विधायकों ने याचिका दायर की है।

बजट सत्र के दौरान व्हिप का उल्लंघन करने पर विधानसभा स्पीकर ने इन विधायकों को अयोग्य घोषित कर दिया था। इस फैसले को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी गई है।

इस बीच बीजेपी नेता दावा कर रहे हैं कि कांग्रेस की सरकार कभी भी गिर सकती है। नेता प्रतिपक्ष और पूर्व मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने कहा है कि लोगों को लोकसभा चुनाव के साथ विधानसभा के चुनावों के लिए भी तैयार रहना चाहिए।

वहीं मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू का कहना है कि बीजेपी उनकी सरकार को अस्थिर करने की कोशिश कर रही है मगर यह अपना कार्यकाल पूरा करेगी।

पर्यवेक्षकों ने सुक्खू, विक्रमादित्य, प्रतिभा और ’12 असंतुष्ट MLA’ पर क्या रिपोर्ट दी?

शिमला।। हिमाचल प्रदेश में राज्यसभा की एक सीट के लिए हुए मतदान के दौरान देखने को मिली राजनीतिक उठापटक और उसके बाद पैदा हुई हलचल को लेकर कांग्रेस के पर्यवेक्षकों ने पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे को रिपोर्ट सौंपी है।

बताया जा रहा है कि इस रिपोर्ट में इस बात का आकलन किया गया है कि ऐसे हालात क्यों पैदा हुए, किसने क्या किया और भविष्य में क्या कदम उठाए जा सकते हैं। अमर उजाला ने एक खबर छापी है, जिसमें बताया गया है कि प्रदेश के नेताओं और हालात को लेकर पर्यपेक्षकों ने क्या राय दी है।

अमल उजाला के मुताबिक, सीएम सुखविंदर सुक्खू को लेकर लिखा गया है कि वो क्रॉस वोटिंग को लेकर अनुमान नहीं लगा सके। “ऐसी बेखबरी स्वीकार नहीं की जा सकती। सीएम अपने विधायकों को जोड़कर नहीं रख सके। भविष्य में अगर पार्टी के भीतर बगावत हुई, तो वे इसे रोक पाएंगे, इसमें भी संदेह पैदा होता है।”

वहीं, कांग्रेस प्रदेशाध्यक्ष प्रतिभा सिंह को कथित तौर पर लोकसभा चुनाव में उतारने का सुझाव दिया गया है मगर यह कहा गया है कि प्रदेशाध्यक्ष किसी और को बनाना चाहिए।

वहीं, इस्तीफा देने और फिर उसे इनसिस्ट न करने और बाद में कैबिनेट बैठक में शामिल होने वाले मंत्री विक्रमादित्य सिंह को लेकर अखबार लिखता है कि पर्यवेक्षकों ने कहा है कि उन्होंने ‘अनुशासन तोड़ा.’ साथ ही नेताओं को संदेह है कि ‘क्या उनपर आगे भी भरोसा किया जा सकता है।’

वहीं, यह कहा गया है कि बगावत करने वाले विधायकों को बीजेपी ने लालच दिया था और कांग्रेस सरकार को अस्थिर करने के लिए बीजेपी लगातार कोशिश कर रही है।

अखबार के अनुसार, पर्यवेक्षकों ने ऐसा सुझाव दिया है कि अन्य 12 असंतुष्ट विधायकों को संहिता से पहले ही पद देकर आचार संतुष्ट करने की कोशिश करनी चाहिए।

हालांकि, ऐसी किसी रिपोर्ट को लेकर कांग्रेस की ओर से काई जानकारी नहीं दी गई है।