डीसी कुल्लू होंगे भुंतर गुरुद्वारे के कार्यवाहक

कुल्लू।। हिमाचल प्रदेश हाई कोर्ट ने डीसी कुल्लू को भुंतर में श्री गुरु ग्रंथ साहिब के स्वामित्व वाली संपत्ति की सुरक्षा के उद्देश्य से कार्यवाहक और रिसीवर के रूप में नियुक्त किया है। पिछले हफ्ते दो दशक से अधिक पुरानी सिविल अपील पर फैसला करते हुए कोर्ट ने उन सभी पक्षों को जो संपत्ति के प्रबंधन पर अधिकार का दावा कर रहे थे, इसे दो हफ्ते के भीतर डीसी कुल्लू को सौंपने के निर्देश जारी किए हैं।

जस्टिस सुरेश्वर ठाकुर ने डीसी को सिख विद्वानों की सहायता से पवित्र धर्मग्रंथों के रखरखाव और समर्पित रखरखाव को सुनिश्चित करने के निर्देश दिए हैं। हाई कोर्ट ने उन्हें सिख धर्म से संबंधित सभी अनुष्ठानों का नियमित रूप से समर्पित पालन सुनिश्चित करने के निर्देश दिए हैं।

इसके अलावा, वह भुगतान किए गए वेतन के साथ-साथ संपत्ति से अर्जित राजस्व का नियमित लेखा-जोखा भी रखेंगे। डीसी सिख सेवादारों और विद्वानों की सहायता से संपत्ति की आय से पवित्र मंदिर के भविष्य के जीर्णोद्धार को भी सुनिश्चित करेंगे।

हाई कोर्ट ने 1997 में एक परिवार के सदस्यों और गुरुद्वारा ग्रंथ साहिब, भुंतर की समिति के सदस्यों के बीच एक विवाद के संबंध में गुरुद्वारे के प्रबंधन पर अधिकार का दावा करते हुए एक अपील का निपटारा करते हुए यह निर्देश पारित किए हैं।

हाई कोर्ट ने कहा कि सिख गुरुद्वारा अधिनियम, 1925 की धारा 38 के अनुसार, सिविल कोर्ट के पास गुरुद्वारा संपत्ति से संबंधित मुकदमों को चलाने और बनाए रखने का कोई अधिकार क्षेत्र नहीं है, जो कि डीसी की पूर्व अनिवार्य अनुमति के बिना उनके सामने लाये गए हैं।

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