मुख्यमंत्री के प्रधान निजी सचिव की पत्नी मीरा वालिया को हाई कोर्ट का नोटिस

शिमला।। हिमाचल प्रदेश हाईकोर्ट ने मुख्यमंत्री वीरभद्र सिंह के प्रधान निजी सचिव सुभाष आहलुवालिया की पत्नी मीरा वालिया, चीफ़ सेक्रेटरी हिमाचल प्रदेश और हिमाचल प्रदेश लोक सेवा आयोग पब्लिक सर्विस कमिशन को नोटिस जारी करके 12 सितंबर तक जवाब मांगा है। दरअसल एक प्रार्थी ने मीरा वालिया को पब्लिक सर्विस कमिशन की सदस्य नियुक्त करने को चुनौती दी है। आरोप है कि उन्हें नियुक्ति देने में नियमों को दरनिकार किया गया है

 

वालिया पर लग चुके हैं करप्शन के आरोप: प्रार्थी
कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश संजय करोल और न्यायाधीश अजय मोहन गोयल की बेंच ने हेमराज की तरफ से दायर याचिका की शुरुआती सुनवाई के दौरान यह आदेश जारी किया है। हेमराज ने आरोप लगाया है कि मुख्यमंत्री के प्रधान निजी सचिव की पत्नी मीरा वालिया पर आय से अधिक सम्पत्ति और भ्रष्टाचार से जुड़े आरोप लग चुके हैं। उन्होंने कहा कि इसे लेकर 22 मई 2008 को एफआईआर दर्ज हुई थी और स्पेशल जज शिमला के कोर्ट में चालान भी पेश हुआ था।

 

‘नियमों को दरकिनार करके दी गई नियुक्ति’
याचिका में कहा गया है कि कानून के प्रावधानों को दरकिनार रखकर वालिया को नियुक्ति दी गई है. याचिका मे कहा गया है कि लोक सेवा आयोग जैसे संघ के सम्माननीय पद पर ऐसे उम्मीदवार की नियुक्ति करनी होती है जोकि पूरी तरह से ईमानदार व सक्षम हो। ऐसे संघ में इस तरह के उम्मीदवार को लगाना किसी भी तरीके से न्यायोचित नहीं है। मीरा वालिया की नियुक्ति करने के लिए कोई भी कानूनी प्रक्रिया नहीं अपनाई गई।

 

कोर्ट ने कहा- जनहित का है मामला
कोर्ट के सामने राज्य सरकार की तरफ याचिका की मैंटेनबिलिटी पर सवाल उठाया गया। मगर हाईकोर्ट ने  स्पष्ट किया कि यह मामला जनहित से जुड़ा है और प्रार्थी को इस तरह के मामले को उठाने का अधिकार है क्योंकि वह विधि स्नातक है। उन्होंने कहा कि यह याचिका मैंटेनेबल है। गौरतलब है कि बीजेपी ने इस साल मई में मीरा वालिया की नियुक्ति को लेकर सवाल खड़े किए थे।

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