कांगड़ा।। पैराग्लाइडिंग के लिए दुनिया भर में मशहूर हिमाचल प्रदेश के बीड़-बिलिंग में एक अलग तरह का मामला सामने आया है। खबरों के मुताबिक प्रदेश पुलिस ने बिलिंग के एक पैराग्लाइडिंग पायलट के खिलाफ उड़ान के दौरान एक महिला टूरिस्ट से छेड़छाड़ करने पर एफआईआर दर्ज की है। मुंबई की एक युवती ने आरोप लगाया है कि पैराग्लाइडिंग के दौरान इस पायलट ने गलत हरकत की। अपने आरोप को पक्ष में इस युवती ने वीडियो क्लिप भी पुलिस को सौपा है। हालांकि, सूत्रों के मुताबिक इस क्लिप को देखकर यह तय कर पाना मुश्किल है कि इतनी हाइट पर सेफ्टी के लिए कदम उठाते वक्त बेल्ट को खींचते हुए गलती से पायलट का हाथ टच हुआ या इरादतन ऐसी हरकत की गई। यह इस तरह का पहला मामला है जो सुर्खियों में आया है। उड़ान के दौरान कैमरे से अडवेंचर को कैद करने के लिए टूरिस्ट्स वीडियो बनाया करते हैं। बताया जा रहा है कि पीड़ित लड़की शिकायत करते की हिम्मत इसलिए कर सकी क्योंकि इसी वीडियो रिकॉर्डिंग के दौरान पायलट की हरकत भी कैमरे में कैद हो गई। इसी को आधार बनाते हुए विक्टिम ने पुलिस की मदद लेने की ठानी ताकि किसी और को इस तरह के हालात का सामना न करना पड़े।
मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार कांगड़ा के एसपी संजीव गांधी ने कहा है, ‘महिला की शिकायत है कि पैराग्लाइडर पायलट ने टैंडम पैराग्लाइडिंग फ्लाइट (जिसमें पायलट अपने साथ टूरिस्ट्स को उड़ाते हैं) के दौरान मॉलेस्ट किया। हम वीडियो क्लिप की जांच कर रहे हैं। महिला के बयान को CrPC के सेक्शन 164 के तहत दर्ज कर लिया गया है।’ रिपोर्ट्स के मुताबिक महिला टूरिस्ट का कहना है कि बैजनाथ के बीड़-बिलिंग में हाल ही में पैराग्लाइडर पायलट ने यह हरकत की है। पुलिस को पहले इस मामले में ऑनलाइन कंप्लेंट मिली थी और अब पीड़ित युवती खुद भी मुंबई से वापस आई है। पायलट के खिलाफ सेक्शन 354 के तहत एफआईआर दर्ज की गई है। एसपी का कहना है कि जब तक आरोपों की पुष्टि नहीं हो जाती, आरोपी की पहचान नहीं बताई जा सकती।
पैलाग्लाइडिंग करवाने वालों पर कोई नियंत्रण नहीं
इस मामले की तो अभी जांच जारी है मगर बीड़-बिलिंग में शरारती तत्वों का जमावड़ा बढ़ता जा रहा है। यहां पर टेंडम फ्लाइट्स तो भरी जा रही हैं मगर यह निगरानी करने के लिए कोई अधिकृत संस्था नहीं है जो लोग यहां टूरिस्ट्स को अपने साथ उड़ा रहे हैं, उनकी क्वॉलिफिकेश क्या है या वे कितने ट्रेन्ड हैं। इससे वे अपने साथ-साथ बाहर से आने वाले टूरिस्ट्स की जान भी जोखिम में डाल रहे हैं। कुछ टूरिस्ट्स यहां तक शिकायत कर चुके हैं कि पायलट्स चरस और गांजा पीकर उड़ाने भरते हैं। अगर लड़की के आरोप सही पाए जाते हैं तो सवाल उठ सकता है कि कहीं ऐसा तो नहीं कि इस तरह के शरारती तत्व बीच हवा में महिला टूरिस्ट्स के साथ छेड़छाड़ करते रहे हों और प्रदेश का नाम खराब करते रहे हों। हालांकि पुलिस मामले की जांच कर रही है कि लड़की के आरोपों में सच्चाई है या नहींं।
पुलिस की कार्यप्रणाली भी सवालों के घेरे में
बीड़ में पिछले कुछ वक्त से टूरिस्ट्स के साथ अभद्र व्यवहार के मामले बढ़ रहे है। यहां घूमने आने वाले कपल्स के साथ कुछ स्थानीय गुंडातत्व बदसलूकी करते रहे हैं। इसी साल जनवरी में कुछ लोगों ने हमीरपुर के टूरिस्ट्स की कार को टक्कर मारकर खाई से गिरा दिया था। इस घटना में हमीरपुर विकासनगर निवासी वरुण शर्मा (30), विपन कुमार (38), निशा कुमारी (37), रुचिता शर्मा (28) और वीहा शर्मा (5) को गंभीर चोटें आई थीं।
घटना में घायल हुए विपिन ने बताया था कि तीनों युवक उनकी कार में बैठी महिलाओं के साथ बदतमीजी करने लगे, मगर उन्होंने इस बात पर ध्यान नहीं दिया। लेकिन इसके बाद तीनों ने कोटली गांव के पास गाड़ी को जान-बूझकर पास लेने के बहाने टक्कर मार दी, जिससे गाड़ी अनियंत्रित होकर पहाड़ी से नीचे ढांक में लुढ़क गई। बाद में पुलिस ने सिर्फ लापरवाही से गाड़ी चलाने का मामला दर्ज किया था। (यहां क्लिक करके पढ़ें खबर) सवाल उठ रहे हैं कि इस तरह के गंभीर मामलों में पुलिस द्वारा ढीला रवैया अपनाने से ऐसे गुंडा तत्वों का हौसला नहीं बढ़ेगा तो और क्या होगा। यहां देश-दुनिया से टूरिस्ट्स आते हैं और अगर उनके साथ कुछ गलत होता है तो पूरे प्रदेश का नाम बिना वजह बदनाम होता है।
ऐसे में ताजा मामले में पुलिस को तुरंत कार्रवाई करनी चाहिए और अगर दोषी पाया जाए तो पायलट को गिरफ्तार करना चाहिए। क्योंकि पुलिस अक्सर ”बदनामी होगी” वाला तर्क देकर ऐसे मामलों में समझौता करवाती पाई जाती है। मगर मामला प्रदेश की प्रतिष्ठा से जुड़ा है, इसलिए ढील नहीं बरतनी चाहिए। हालांकि इस मामले में सभी को कांगड़ा के तेज-तर्रार एसपी संजीव गांधी से उम्मीदें हैं अपराध और अपराधियों के लिए जीरो टॉलरंस नीति अपनाने के लिए पहचाने जाते हैं। साथ ही बीड़ समेत अन्य जगहों पर पैराग्लाइडिंग करवाने वालों का रजिस्ट्रेशन होना चाहिए और उड़ान भरने से पहले उनका मेडिकल भी होना चाहिए। साथ ही उड़ान के दौरान वीडियो रेकॉर्डिंग अनिवार्य कर देनी चाहिए। वरना क्या पता कल को कोई शरारती तत्व आए और किसी महिला टूरिस्ट को अपने साथ उड़ाकर किसी अज्ञात जगह पर उतार ले। किसी अप्रिय घटना के लिए कौन जिम्मेदार होगा? सरकार को इस ओर ध्यान देना चाहिए।